हल्की बारिश के आसार इन जिलों में जबलपुर, रीवा-शहडोल, MP में कल से तेज गर्मी का दौर
मध्य प्रदेश में शुक्रवार को भी मौसम में बदलाव होने के आसार हैं। मौसम विक्षोभ (पश्चिमी विक्षोभ) की सक्रियता से जबलपुर, रीवा और शहडोल में हल्की बारिश होगी, वहीं सागर-नर्मदापुरम क्षेत्र में भी इसका असर महसूस किया जाएगा। 30-50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से तेज हवाएं चलने और आसमान में बिजली गिरने की संभावना है।
पश्चिमी विक्षोभ का असर गुरुवार को शुरू हुआ, जिसके चलते भोपाल समेत प्रदेश के कई शहरों में बादल छाए रहे। रीवा, खजुराहो, नौगावां और उज्जैन में हल्की बारिश दर्ज की गई, जबकि जबलपुर में रात भर भारी बारिश हुई। मध्य प्रदेश के आधे हिस्से में फैले प्रभाव के साथ, शुक्रवार को मौसम की स्थिति समान रहने की उम्मीद है।
हालत भी अतिआवश्यकता और उत्कृष्टता की स्थिति में परिणाम होगा।
मौसम विज्ञानी एच.एस. पाण्डेय के अनुसार 30 मार्च से उत्तर भारत में पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय हो गया है, जिसने पूरे क्षेत्र को प्रभावित किया है। 31 मार्च को भी कुछ इलाकों में बारिश की संभावना है। आंधी और बिजली की स्थिति उत्पन्न हो सकती है। इसके बाद मौसम साफ होगा और गर्मी का असर और तेज होगा।
आज ऐसा रहेगा मौसम
नर्मदापुरम और सागर क्षेत्रों के कुछ जिलों में वायुमंडलीय बिजली के साथ गड़गड़ाहट और बिजली गिरने की घटनाएं हो सकती हैं। इसके अतिरिक्त, क्षेत्र में हवा की गति 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे तक पहुंच सकती है।
रीवा, शहडोल और जबलपुर में मौसम इसी तरह बना रहेगा। इन इलाकों में हल्की बारिश हो सकती है। हवा की गति 50 किमी प्रति घंटा तक रहेगी।
भोपाल में मौसम के मिजाज में बदलाव होना तय है।
शुक्रवार को राजधानी में भी मौसम में बदलाव होने की उम्मीद है। जबकि गुरुवार को आसमान में बादल छाए रहेंगे, शुक्रवार को मौसम के मिजाज में उल्लेखनीय बदलाव देखने को मिलेगा। इसके बाद, प्रचलित गर्मी के प्रभाव में वृद्धि होगी।
मार्च में भारी बारिश की तीन घटनाएं हुई थीं।
मार्च में तीन बार सिस्टम खराब हुआ और तीनों बार ओलावृष्टि हुई। पहला चरण 3 मार्च से 9 मार्च तक चला। दूसरा चरण 16 मार्च से 19 मार्च के बीच रहा, जबकि तीसरा चरण 24 मार्च से 27 मार्च तक चला। कृपया बताएं कि सिस्टम के पहले और दूसरे चरण के कारण सबसे बड़ी समस्याएँ हुईं किसान। पहले चरण में 43 जिलों में बारिश और ओले गिरे। इनमें से 16 जिलों विदिशा, रतलाम, आगर-मालवा, मंदसौर, नीमच, खंडवा, राजगढ़, रासेन, धार, बड़वानी, भोपाल, शाजापुर, ग्वालियर, शिवपुरी, श्योपुर और मुरैना में सवा लाख हेक्टेयर से अधिक फसल बर्बाद हो चुकी है। 3280 गांवों में 1.09 लाख किसान प्रभावित हुए। 16 से 19 मार्च के बीच बदले मौसम ने 27 से अधिक जिलों को प्रभावित किया। 24 से 26 मार्च के बीच प्रदेश के कई शहरों में हल्की बारिश हुई। इस बीच सतना, अनूपपुर और पन्ना में ओले भी गिरे।